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कक्षा दसवीं के बाद विषय चयन हेतु डॉक्टर संजय गुप्ता ने दिए महत्वपूर्ण सुझाव, बताए प्रत्येक विषय पर करियर के स्कोप एवं लाभ

छात्र में कई ऐसे पड़ाव आते हैं जब आपको अहम फैसले लेने होते हैं जो कि आगे जाकर आपके करियर निर्माण की बुनियाद बनते हैं। ऐसा पहला पड़ाव 10वीं के बाद आता है जब उन्‍हें 11वीं कक्षा के लिए विषय चुनना होता है। अब विषय के चयन में साइकोलॉजी टेस्‍ट बहुत मायने रखता है। वर्तमान दौर में अच्छे करियर के लिए प्रतियोगिता दिन-प्रतिदिन बढ़ती ही जा रही है। ऐसी प्रतियोगिता के बीच सफलता इस बात पर आधारित होती है कि करियर अवसरों की डगर पर किस तरह आगे बढ़ा जा रहा है। यदि छात्र अपने जीवन में करियर का सही चुनाव कर लेता है तो आगे की राह कुछ आसान हो जाती है।

छात्र को अपनी योग्‍यता, क्षमता और दक्ष्‍ाता का मूल्‍यांकन कर यह फैसला लेना चाहिए। ऐसे में माता-पिता और शिक्षक अपने मार्गदर्शन से एक सही भूमिका निभा सकते हैं। यदि उन्‍हें यह पता हो कि छात्र की अभिरूचि किसमें हैं तो यह और भी आसान हो जाता है। यदि छात्र को पता हो कि कौन-से कोर्सेस ऐसे हैं जो करियर की ऊंचाइयां दे सकते हैं, शिक्षण संस्‍थाएं जो वास्‍तव में श्रेष्‍ठ हैं, आगे बढ़ने के लिए क्‍या योग्‍यताएं और विशेषताएं हों, तो निश्चित रूप से एक सही करियर चयन होगा।

हाईस्कूल स्तर की 10वीं कक्षा के बाद 11वीं में प्रवेश के समय प्रमुख रूप से इन मुख्‍य विषयों में से किसी एक विषय को चुनना होता है। ये विषय हैं- गणित, जीव विज्ञान, वाणिज्य, कला। इन मूल विषयों में से किसी एक विषय को चुनने के साथ-साथ कोई एक अतिरिक्त विषय भी लेने की व्यवस्था कई हायर सेकंडरी स्कूलों में उपलब्ध है, जैसे कॉमर्स विथ मैथ्स, बॉयोलॉजी विथ बायोटेक्नॉलॉजी, मैथ्स विथ फिजिकल एजुकेशन आदि। उपयुक्त विषय चुनकर उनकी पढ़ाई के साथ-साथ दो वर्षों तक छात्र उन प्रवेश परीक्षाओं की तैयारी कर सकता है जिनमें उसे 12वीं के बाद शामिल होना है

10वीं कक्षा के बाद किसी विषय स्ट्रीम का चयन करना छात्रों के लिए एक महत्वपूर्ण निर्णय होता है, क्योंकि यह उनके शैक्षणिक और करियर की दिशा को आकार देता है। इस विकल्प में आमतौर पर तीन प्रमुख स्ट्रीम में से एक का चयन करना शामिल होता है: विज्ञान, वाणिज्य या कला (मानविकी)। प्रत्येक स्ट्रीम अलग-अलग अवसर और करियर पथ प्रदान करती है, जो छात्रों द्वारा अर्जित कौशल और ज्ञान को प्रभावित करती है।

दीपका स्थित इंडस पब्लिक स्कूल के प्राचार्य डॉक्टर संजय गुप्ता ने उपरोक्त विषय पर अपने महत्वपूर्ण विचार साझा किए,जिसमें से प्रमुख अंश इस प्रकार हैं –
विज्ञान स्ट्रीम
विज्ञान स्ट्रीम को अक्सर चिकित्सा, इंजीनियरिंग और तकनीकी क्षेत्रों में रुचि रखने वाले छात्र चुनते हैं। यह भौतिकी, रसायन विज्ञान, जीव विज्ञान, गणित और कंप्यूटर विज्ञान जैसे विषयों का मिश्रण प्रदान करता है।
करियर स्कोप:
इंजीनियरिंग: भौतिकी, रसायन विज्ञान और गणित जैसे विषयों पर ध्यान केंद्रित करने के साथ, छात्र विभिन्न इंजीनियरिंग विषयों (मैकेनिकल, सिविल, इलेक्ट्रिकल, कंप्यूटर विज्ञान, आदि) को आगे बढ़ा सकते हैं। इंजीनियरिंग निजी और सार्वजनिक दोनों क्षेत्रों में आकर्षक करियर विकल्प प्रदान करती है।
चिकित्सा : जीव विज्ञान में रुचि रखने वाले छात्र चिकित्सा, दंत चिकित्सा, पशु चिकित्सा विज्ञान, फार्मेसी और जैव प्रौद्योगिकी में करियर चुन सकते हैं। इस मार्ग पर मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश के लिए NEET जैसी प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण करने की आवश्यकता होती है।
शुद्ध विज्ञान: शोध और विकास के लिए जुनून रखने वाले लोग भौतिकी, रसायन विज्ञान या जीव विज्ञान जैसे विषयों में बीएससी की डिग्री प्राप्त कर सकते हैं, उसके बाद एम.एससी. और पीएचडी कार्यक्रम कर सकते हैं। शिक्षाविदों, शोध संस्थानों और प्रयोगशालाओं में करियर बनाना आम बात है।
कंप्यूटर और आईटी: गणित और कंप्यूटर विज्ञान के साथ, छात्र सॉफ्टवेयर विकास, डेटा विज्ञान, साइबर सुरक्षा और कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर ध्यान केंद्रित करते हुए सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में प्रवेश कर सकते हैं।
लाभ:
विज्ञान पेशेवरों की उच्च मांग।
करियर के अवसरों की विस्तृत श्रृंखला।
उच्च आय की संभावना।
गणित
गणित एक बहुमुखी विषय है जो विज्ञान और वाणिज्य दोनों धाराओं का पूरक है। यह इंजीनियरिंग, अर्थशास्त्र, वित्त, डेटा विश्लेषण और बीमांकिक विज्ञान में करियर के लिए आवश्यक है।
करियर का दायरा:
इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी: गणित सभी इंजीनियरिंग विषयों के साथ-साथ डेटा विज्ञान, मशीन लर्निंग और रोबोटिक्स जैसे उभरते क्षेत्रों के लिए एक मुख्य विषय है।

अर्थशास्त्र और वित्त: छात्र अर्थशास्त्र, वित्तीय गणित और एक्चुरियल साइंस में डिग्री प्राप्त कर सकते हैं। बैंकिंग, निवेश, बीमा और वित्तीय विश्लेषण में करियर प्रमुख हैं।
डेटा विज्ञान और विश्लेषण: बड़े डेटा के उदय के साथ, डेटा वैज्ञानिकों और विश्लेषकों की महत्वपूर्ण मांग है, जिनके पास मजबूत गणितीय और सांख्यिकीय कौशल हैं।
शिक्षा और अनुसंधान: शुद्ध और अनुप्रयुक्त गणित में शिक्षा, शिक्षण और अनुसंधान में करियर भी एक व्यवहार्य मार्ग है।
लाभ :
विज्ञान और वाणिज्य दोनों में विभिन्न करियर पथों के लिए केंद्रीय
विश्लेषणात्मक और समस्या-समाधान कौशल की उच्च मांग।
डेटा विज्ञान और कृत्रिम बुद्धिमत्ता जैसे उभरते क्षेत्रों में अवसर।
वाणिज्य स्ट्रीम
वाणिज्य स्ट्रीम व्यवसाय, वित्त और प्रबंधन में रुचि रखने वाले छात्रों के लिए आदर्श है। प्रमुख विषयों में अर्थशास्त्र, व्यवसाय अध्ययन, लेखा और गणित शामिल हैं।
करियर स्कोप:
चार्टर्ड अकाउंटेंसी (सीए): वाणिज्य में सबसे प्रतिष्ठित करियर में से एक। इसमें ऑडिटिंग, कराधान और वित्तीय प्रबंधन शामिल है।
व्यवसाय प्रबंधन: छात्र बीबीए, एमबीए की डिग्री प्राप्त कर सकते हैं और मार्केटिंग, वित्त, मानव संसाधन और संचालन प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में विशेषज्ञता प्राप्त कर सकते हैं। कॉर्पोरेट प्रबंधन, परामर्श और उद्यमिता में करियर आम हैं।
अर्थशास्त्र और वित्त: अर्थशास्त्र, वाणिज्य (बी.कॉम) और वित्त में डिग्री बैंकिंग, निवेश, शेयर बाजार और वित्तीय नियोजन में करियर की ओर ले जाती है।
कानून : छात्र बी.कॉम एलएलबी या बीबीए एलएलबी जैसे एकीकृत कानून पाठ्यक्रमों का विकल्प चुन सकते हैं, जिससे कॉर्पोरेट कानून, वित्तीय कानून और कानूनी परामर्श में करियर की ओर अग्रसर होते हैं।
लाभ :
व्यवसाय और उद्यमशीलता उपक्रमों के लिए मजबूत आधार।
वित्त और प्रबंधन भूमिकाओं में उच्च कमाई की संभावना।
निजी और सार्वजनिक दोनों क्षेत्रों में विविध करियर विकल्प।
निष्कर्ष
10वीं कक्षा के बाद सही स्ट्रीम चुनना एक महत्वपूर्ण निर्णय है जो व्यक्तिगत रुचियों, शक्तियों और करियर आकांक्षाओं पर आधारित होना चाहिए। विज्ञान इंजीनियरिंग, चिकित्सा और शुद्ध विज्ञान में अवसर प्रदान करता है। गणित प्रौद्योगिकी, वित्त और अनुसंधान में करियर के लिए एक बहुमुखी आधार प्रदान करता है। वाणिज्य व्यवसाय, वित्त, प्रबंधन और कानून में करियर के द्वार खोलता है। प्रत्येक स्ट्रीम में संभावनाओं और अवसरों को समझने से छात्रों को अपने दीर्घकालिक लक्ष्यों के अनुरूप निर्णय लेने में मदद मिलती है।

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